नियम

राष्ट्रीय प्राणी उद्यान में निषेध सामग्री

  • शिशुओं के लिए दूध के अतिरिक्त अन्य खाद्य सामग्री.
  • सभी प्रकार के तम्बाकू एवं मादक पदार्थ
  • माचिस / लाइटर
  • सभी प्रकार की ज्वलनशील सामग्री
  • पॉलिथीन बैग/ पैकेट
  • सभी प्रकार के बैग सिवाय महिलाओं के पर्स,लैपटॉप, कवर के साथ कैमरा
  • सभी प्रकार के संगीत / ध्वनि उत्पादन उपकरण।
  • अग्नि हथियार / पालतू जानवर / ब्लेड / चाकू / कैंची और अन्य तेज धार वाली वस्तुएं।
आपके सहयोग के लिए धन्यवाद् |
निदेशक
राष्ट्रीय प्राणी उद्यान

चिड़ियाघरों की मान्यता :

  1. देश में चिड़ियाघर वन्यजीवन (संरक्षण) अधिनियम, 1972 की धारा 38 एच. के प्रावधानों के तहत संचालित होते हैं, इसी के अंतर्गत चिड़ियाघरों से सम्बंधित नियम बनाये गये है | इस अधिनियम के अंतर्गत चिड़ियाघर के लिए प्रासंगिक प्रमुख प्रावधान निम्नलिखित है :
  2. केन्द्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा मान्यता प्राप्त किए बिना कोई भी चिड़ियाघर संचालित नहीं किया जाएगा। बशर्ते कि अगर एक चिड़ियाघर वन्यजीवन (संरक्षण) संशोधन अधिनियम, 1991 के शुरू होने की तारीख से तुरंत पहले से संचालित किया जा रहा है तो यह अपने आरम्भ की तारीख से अठारह महीने की अवधि तक के लिए मान्यता प्राप्त किए बिना भी संचालित हो सकता है| यदि इस अवधि के दौरान मान्यता प्राप्त करने के लिए आवेदन किया गया हो तो उस चिड़ियाघर का संचालन तब तक किया जाएगा जब तक उसके आवेदन पर अंतिम निर्णय नही लिया जाता | अगर मान्यता से इंकार कर दिया जाता है तो इंकार की तारीख से अगले छ: महीने की अवधि तक चिड़ियाघर का संचालन होगा |
  3. वन्य जीवन (संरक्षण) संशोधन अधिनियम, 2002 के शुरू होने के बाद से कोई भी चिड़ियाघर केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण की पूर्व स्वीकृति प्राप्त किए बिना स्थापित नहीं किया जाएगा।
  4. चिड़ियाघर की मान्यता प्राप्त करने के लिए प्रत्येक आवेदन केन्द्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निर्धारित फॉर्म भरने और शुल्क के भुगतान पर ही किया जा सकता है |
  5. प्रत्येक मान्यता में शर्ते उल्लिखित होगी, जिसके तहत आवेदक चिड़ियाघर का संचालन करेगा |
  6. केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा किसी भी चिड़ियाघर को तब ही मान्यता दी जाएगी जब वह वन्यजीवन की सुरक्षा और संरक्षण के हितों के संबंध में निर्धारित मानकों, मानदंडों और अन्य मामलों से संतुष्ट हो जायेगा |
  7. चिड़ियाघर की मान्यता के लिए कोई आवेदन तब तक अस्वीकार नहीं किया जाएगा जब तक कि आवेदक को सुनवाई का उचित अवसर नहीं दिया जाता है।
  8. केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण उपधारा (IV) के तहत दी गयी मान्यता को कमियाँ मिलने पर निलंबित या रद्द कर सकता है | परन्तु इस तरह का निलंबन या रद्दीकरण करने से पहले चिड़ियाघर के मुखिया को अपना पक्ष रखने के उचित अवसर प्रदान किये जायेंगे |
  9. )किसी भी चिड़ियाघर को उपधारा (V) के तहत मान्यता देने से इंकार करने और उपधारा (6) के तहत मान्यता निलंबित या रद्द करने का आदेश केंद्र सरकार के द्वारा किये जायेंगे |
  10. Aअगर किसी आदेश के खिलाफ उपधारा (VII) के तहत अपील की जाती है तो इसे आवेदक के साथ हुए संचार की तिथि से तीस दिन के अन्दर सुनवाई की प्राथमिकता दी जाती है | बशर्ते कि केंद्र सरकार उपरोक्त अवधि की समाप्ति के बाद भी किसी अपील को स्वीकार कर सकती है, यदि वह संतुष्ट है कि अपीलकर्ता के पास समय पर अपील नहीं करने को प्राथमिकता देने के लिए पर्याप्त कारण था।

38-I.चिड़ियाघर द्वारा जानवरों का अधिग्रहण

  1. अधिनियम 1972 के अन्य प्रावधानों के अधीन, कोई चिड़ियाघर केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण की पिछली अनुमति को छोड़कर अनुसूची I और II में निर्दिष्ट किसी भी जंगली जानवर या कैप्टिव पशु को अधिग्रहण, बिक्री या हस्तांतरित नहीं करेगा।
  2. कोई चिड़ियाघर किसी मान्यता प्राप्त चिड़ियाघर के आलावा किसी भी जंगली या कैप्टिव पशु को अधिग्रहण, बिक्री या स्थानांतरित नहीं करेगा |

38J चिड़ियाघरों में जानवरों के साथ छेड़खानी, तंग करना आदि का निषेध – चिड़ियाघर में कोई भी व्यक्ति को जानवरों के साथ छेडछाड, चिढ़ाना, चोट पहुँचाना, खाना देना, शोर द्वारा उपद्रव और अशांति फैलाना एवं परिसर में कूड़ा फैलाना जैसे व्यवहार सख्त निषेध है |

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